Yogesh joshi vakratunda mahakaya

वक्रतुण्ड महाकाय सूर्यकोटि समप्रभ श्लोक

वक्रतुण्ड महाकाय सूर्यकोटि समप्रभ।

निर्विघ्नं कुरु मे देव सर्वकार्येषु सर्वदा॥

अर्थ – घुमावदार सूंड वाले, विशाल शरीर काय, करोड़ सूर्य के समान महान प्रतिभाशाली।
मेरे प्रभु, हमेशा मेरे सारे कार्य बिना विघ्न के पूरे करें (करने की कृपा करें)॥

अंग्रेजी में श्लोक –

Vakra-Tunndda Maha-Kaaya Suurya-Kotti Samaprabha |
Nirvighnam Kuru Me Deva Sarva-Kaaryessu Sarvadaa ||

अंग्रेजी में अर्थ – Ganesha, of huge intent with elephant head, shining regard billions of suns, O Immortal, remove all obstacles from embarrassed endeavors, forever.

गणेश भगवान के अन्य श्लोक

1.

श्लोक –एकदन्ताय शुद्घाय सुमुखाय नमो नमः ।\
प्रपन्न जनपालाय प्रणतार्ति विनाशिने ॥

अर्थ – जिनके एक दाँत और सुन्दर मुख है, जो शरणागत भक्तजनों के रक्षक तथा प्रणतजनों की पीड़ा का नाश करनेवाले हैं, उन शुद्धस्वरूप आप गणपति को बारम्बार नमस्कार है ।

2. विघ्नेश्वराय वरदाय सुरप्रियाय लम्बोदराय सकलाय जगद्धितायं।
नागाननाथ श्रुतियज्ञविभूषिताय गौरीसुताय गणनाथ नमो नमस्ते॥

अर्थ – विघ्नेश्वर, वर देनेवाले, देवताओं को प्रिय, लम्बोदर, कलाओंसे परिपूर्ण, जगत् का हित करनेवाले, गजके समान मुखवाले और वेद तथा यज्ञ से विभूषित पार्वतीपुत्र को नमस्कार है ; हे गणनाथ !

आपको नमस्कार है ।

3. एकदंताय विद्‍महे। वक्रतुण्डाय धीमहि। तन्नो दंती प्रचोदयात।।

अर्थ – एक दंत को हम जानते हैं। वक्रतुण्ड का हम ध्यान करते हैं। वह दन्ती (गजानन) हमें प्रेरणा प्रदान करें।

4. अमेयाय च हेरम्ब परशुधारकाय ते ।
मूषक वाहनायैव विश्वेशाय नमो नमः ॥

अर्थ – हे हेरम्ब !

आपको किन्ही प्रमाणों द्वारा मापा नहीं जा सकता, आप परशु धारण करने वाले हैं, आपका वाहन मूषक है । आप विश्वेश्वर को बारम्बार नमस्कार है ।

तांत्रिक गणेश मंत्र

ॐ गणपति यहाँ पठाऊ तहां जावो

दस कोस आगे जा

ढाई कोस पीछे जा

दस कोस सज्जे दस कोस खब्बे

मैया गुफ्फा की आज्ञा मन रिद्धि सिद्धि देवी आन

अगर सगर जो न आवे तो माता पारवती की लाज

ॐ क्राम फट स्वाहा।

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